इंकलाब
Saturday, July 10, 2010
दो दुश्मन
जरूरी हैं प्रेम और दुलार
इनके बिना हम रह नहीं सकते
अत्याचार और उपेक्षा से
नफ़रत करते हैं हम
लेकिन हमारे दो दुश्मन भी हैं
ये दुश्मन हैं
अहंकार
और दूसरे पर हुक्म चलाने की आदत ।
- तो हू
भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी
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