भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी (भाकपा) के 21 वें राष्ट्रीय महाधिवेशन की
शुरुआत विशाल रैली से हुई। गांधी मैदान में कार्यकर्ता करीब नौ बजे ही
अपने-अपने जिलों के बैनर के पीछे कतारबद्ध हो गये थे। रैली गांधी मैदान से
निकलती रही है और कार्यकर्ता लाल झंडा हाथ में थामे गाजे बाजे के साथ आते
रहे। भाकपा की रैली गांधी मैदान से करीब 12 बजे निकली। 21 घोड़ों पर लाल
झंडा लिए जनसेवा दल का सबसे आगे चल रहे थे। उसके पीछे 21 मोटरसाइकिलों पर
63 लाल वर्दीधारी जवान मार्च कर रहे थे। इनके जन सेवा दल के कई टुकड़ियां
मार्च कर रही थी, जिसमें एक हजार युवक और युवतियां थीं। रैली का नेतृत्व
भाकपा के राष्ट्रीय उप महासचिव एस सुधाकर रेड्डी, राष्ट्रीय सचिव अमजीत
कौर, अतुल कुमार अंजान, गुरुदास दास गुप्ता, भाकपा के राज्य सचिव
बद्रीनारायण लाल, पूर्व विधायक रामनरेश पांडेय, पूर्व विधान पाषर्द संजय
कुमार सहित कई राष्ट्रीय नेताओं ने किया। इन नेताओं के पीछे-पीछे विभिन्न
जिलों का जत्था मार्च कर रहा था। जन सेवा दल के जवान राज्य कमांडर चंदेरी
प्रसाद सिंह और विद्या सिंह के नेतृत्व में पैदल मार्च कर रहे थे। वहीं
पूर्व विधायक राजेंद्र सिंह घोड़े पर सवाड़ जनसेवा दल के का नेतृत्व कर रहे
थे। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव एबी बर्धन ने पार्टी
के 21 वें राष्ट्रीय महाधिवेशन का झंडोत्तोलन किया। इस मौके पर जनसेवा दल
के सैकड़ों युवक युवतियों ने झंडे की सलामी दी और 21 बम पटाखे भी फोड़े
गये। महासचिव श्री बर्धन और राज्य सचिव बद्रीनारायण लाल ने 21 लाल गुब्बारे
हवा में उड़ाये। इस मौके पर भाकपा के उप महासचिव एस सुधाकर रेड्डी,
राष्ट्रीय सचिव डी राज, अतुल कुमार अंजान, अमरजीत कौर, सचिव मंडल सदस्य
जितेंद्रनाथ, पूर्व विधायक रामनरेश पांडेय, राज्य कार्यकारिणी सदस्य चंदेरी
प्रसाद सिंह आदि मौजूद थे। भाकपा नेताओं ने झंडोत्तोलन के बाद शहीद वेदी
पर माल्यार्पण भी किया। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी के नेताओं ने रैली शुरू
होने से पहले भारतीय स्वतंत्रता आंदोलन के नायकों की प्रतिमा और शहीद
स्मारकों पर माल्यापर्ण भी किया। इनमें वीर कुवंर सिंह, शहीस स्मारक, करगिल
शहीदों की याद में बनाये गये शहीद स्मारक, पीर अली, शहीदे आजम भगत सिंह और
नेताजी सुभाष चंद्र बोस की प्रतिमा शामिल है। भारतीय कम्युनिस्ट पार्टी की
राष्ट्रीय परिषद की बैठक मंगलवार को हुई। बैठक में 21 वें राष्ट्रीय
महाधिवेशन के संचालन को लेकर योजना बनायी गयी। महाधिवेशन का संचालन 31
सदस्यीय राष्ट्रीय कार्यकारिणी करेगी। साथ ही चार दिवसीय प्रतिनिधि सत्र की
अध्यक्षता की जिम्मेवारी नौ सदस्यीय अध्यक्ष मंडली को दी गयी है। अध्यक्ष
मंडल का संयोजक अमरजीत कौर को बनाया गया है।
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